जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
अहमदाबाद में बुधवार दोपहर दिल दहला देने वाली घटना सामने आई, जब एयर इंडिया की फ्लाइट AI-171 दोपहर 1:38 बजे टेक-ऑफ करने के महज दो मिनट बाद 1:40 बजे भीषण हादसे का शिकार हो गई। यह विमान बोइंग 787 ड्रीमलाइनर था, जिसमें कुल 242 यात्री और क्रू मेंबर सवार थे, जिनमें से अब तक 100 से अधिक शव बरामद किए जा चुके हैं। यात्रियों में गुजरात के पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी, 53 ब्रिटिश नागरिक, 7 पुर्तगाली, 1 कनाडाई, और 169 भारतीय नागरिक शामिल थे।
यह हादसा उस वक्त हुआ जब विमान एयरपोर्ट की दीवार और एयर कस्टम कार्गो ऑफिस से टकरा गया और फिर सीधे अहमदाबाद सिविल हॉस्पिटल के पास स्थित डॉक्टर्स की रिहायशी बिल्डिंग से जा भिड़ा। यह बिल्डिंग खासतौर पर इंटर्न डॉक्टर्स के हॉस्टल के रूप में उपयोग होती थी, जहां उस समय 50 से 60 डॉक्टर्स मौजूद थे। अब तक की जानकारी के अनुसार, 15 डॉक्टर्स गंभीर रूप से घायल हैं और कई के मारे जाने की आशंका जताई जा रही है।
हादसे से पहले पायलट सुमित सुब्बरवाल ने अंतिम क्षणों में कंट्रोल रूम को “Mayday, Mayday, Mayday” कॉल दी थी। यह इंटरनेशनल डिस्ट्रेस सिग्नल होता है, जो जानलेवा खतरे की स्थिति में पायलट द्वारा दिया जाता है। ‘मे-डे’ शब्द फ्रेंच भाषा के “m’aidez” से लिया गया है, जिसका अर्थ होता है — “मदद कीजिए”।
जैसे ही विमान क्रैश हुआ, पूरे इलाके में धुएं का विशाल गुबार फैल गया। राहत और बचाव कार्य के लिए तुरंत एनडीआरएफ, फायर ब्रिगेड, पुलिस, और सेना की मेडिकल टीमें घटनास्थल पर भेजी गईं। घायलों को तत्काल उपचार दिलाने के लिए ग्रीन कॉरिडोर बनाया गया, जिससे मरीजों को ट्रैफिक रोके बिना सीधे अस्पताल पहुंचाया जा सके।
हादसे की सूचना मिलते ही प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृहमंत्री अमित शाह, और नए नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू दिल्ली से तुरंत अहमदाबाद के लिए रवाना हो गए। प्रधानमंत्री कार्यालय ने इस घटना को राष्ट्रीय आपदा घोषित करने की तैयारी शुरू कर दी है।
फिलहाल राहत कार्य जारी है लेकिन यह स्पष्ट है कि यह देश के इतिहास की सबसे भीषण विमान दुर्घटनाओं में से एक है। हादसे के कारणों की जांच के लिए DGCA (नागर विमानन महानिदेशालय) और एयर इंडिया एक्सपर्ट टीम भी मौके पर पहुंच चुकी हैं।