क्या सच में खोला गया यूनियन कार्बाइड कचरे का कंटेनर? पीथमपुर में अफवाह के कारण हुआ पथराव, सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों की गाड़ी का कांच टूटा

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जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:

जब से यूनियन कार्बाइड का कचरा पीथमपुर में आया है, तब से प्रशासन और सरकार को स्थानीय लोगों के विरोध का सामना करना पड़ रहा है। लोग लगातार कचरा जलाने के खिलाफ प्रदर्शन कर रहे हैं। पूरे क्षेत्र में हर संगठन और संस्था इस जहरीले कचरे के निपटारे के खिलाफ एकजुट हो गई है। कचरे के खिलाफ जन आंदोलन तेजी से बढ़ रहा है, और लोग सड़कों पर उतरकर अपनी बात रख रहे हैं। शुक्रवार को भी पीथमपुर बस स्टैंड पर कई संगठनों ने धरना जारी रखा। एक व्यक्ति ने तो आत्मदाह की कोशिश की, जिससे दो लोग गंभीर रूप से घायल हो गए।

वहीं, आज शनिवार को तीसरे दिन भी यूनियन कार्बाइड फैक्ट्री के जहरीले कचरे के खिलाफ विरोध जारी है। सुबह लगभग 9:30 बजे फैक्ट्री में पथराव की घटना हुई। इसके बाद पुलिस ने लोगों को वहां से खदेड़ दिया और गांव के बाहर बैरिकेड्स लगा दिए। इस पथराव में फैक्ट्री की सुरक्षा में तैनात पुलिसकर्मियों की गाड़ी का कांच टूट गया। मौके पर मौजूद एसडीएम प्रमोद कुमार गुर्जर ने बताया कि पथराव की वजह एक अफवाह थी। कहा गया था कि भोपाल से आए कंटेनरों को खोला जा रहा है और एक मजदूर घायल हो गया है, लेकिन ऐसा कुछ नहीं हुआ। उन्होंने सभी कंटेनरों की जांच की है। उन्होंने बताया कि फैक्ट्री के परिसर और इसके 100 मीटर के दायरे में प्रतिबंधात्मक आदेश लागू किए गए हैं, और जो इसका उल्लंघन करेगा, उस पर कार्रवाई की जाएगी।

बता दें, पीथमपुर में शुक्रवार को बंद के दौरान हुए प्रदर्शन के मामले में पुलिस ने तीन केस दर्ज किए हैं। पुलिस ने बरदरी चौराहा, सवारियां मंदिर और आजाद चौराहे पर चक्काजाम करने वाले अज्ञात लोगों के खिलाफ 383, 341, 149, और 147 धाराओं के तहत FIR की गई है। वहीं, जहरीले कचरे के खिलाफ अनशन करने वाले संदीप रघुवंशी ने अपना अनशन 36 घंटों के बाद खत्म कर दिया है। उन्होंने धार नगर पालिका परिषद की बैठक में कहा, “मेरा अनुरोध अभी भी यही है कि इस कचरे का निपटारा यहां नहीं होना चाहिए।”

जानकारी के लिए बता दें भोपाल गैस त्रासदी का जहरीला कचरा 40 साल बाद गुरुवार (2 जनवरी) को पीथमपुर पहुंचा और तभी से ही वहां विरोध और धरना प्रदर्शन जारी है।

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