जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल आगामी 31 मई को ऐतिहासिक और गरिमामय महासम्मेलन का साक्षी बनने जा रही है। मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने जानकारी दी है कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वयं भोपाल पधारेंगे और महिला सशक्तिकरण और स्वावलम्बन महासम्मेलन को संबोधित करेंगे। यह सम्मेलन लोकमाता देवी अहिल्याबाई होलकर की त्रिशताब्दी जयंती के उपलक्ष्य में आयोजित किया जा रहा है, जो न केवल महिलाओं के योगदान को सम्मानित करेगा बल्कि उन्हें आगे बढ़ने की नई दिशा भी देगा।
मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने सोमवार को समत्व भवन स्थित मुख्यमंत्री निवास में इस आयोजन की समीक्षा बैठक की और अधिकारियों को सभी तैयारियों को अंतिम रूप देने के निर्देश दिए। डॉ. यादव स्वयं 21 मई को आयोजन स्थल जंबूरी मैदान पहुंचकर व्यवस्थाओं का जायज़ा ले चुके हैं। बैठक में संबंधित विभागों को उनके कार्यों की जिम्मेदारी स्पष्ट रूप से सौंप दी गई है ताकि आयोजन बिना किसी व्यवधान के सम्पन्न हो।
इस महासम्मेलन के दौरान प्रधानमंत्री मोदी लोकमाता अहिल्याबाई को समर्पित विशेष डाक टिकट और स्मारक सिक्के का विमोचन भी करेंगे। इसके साथ ही वह इंदौर मेट्रो रेल परियोजना का लोकार्पण करेंगे तथा उज्जैन में क्षिप्रा नदी के विभिन्न घाटों के भूमिपूजन और लोकार्पण कार्यक्रम में भी भाग लेंगे। कार्यक्रम में एक लघु फिल्म का प्रदर्शन भी किया जाएगा, जो प्रदेश में महिला सशक्तिकरण और विकास की दिशा में हुए कार्यों को दर्शाएगी।
बैठक में यह भी बताया गया कि इस महासम्मेलन में लाड़ली बहना योजना से जुड़ी महिलाएं, स्व-सहायता समूहों की सदस्याएं, महिला उद्यमी, सांस्कृतिक, सामाजिक और व्यावसायिक क्षेत्रों में कार्यरत महिलाएं बड़ी संख्या में भाग लेंगी। यह आयोजन प्रदेश में महिलाओं की आर्थिक, सामाजिक और नेतृत्व क्षमता को और अधिक सशक्त बनाने की दिशा में एक मील का पत्थर साबित होगा।
समीक्षा बैठक में मुख्य सचिव अनुराग जैन, अपर मुख्य सचिव मुख्यमंत्री कार्यालय डॉ. राजेश राजौरा, पुलिस महानिदेशक कैलाश मकवाना, तथा अन्य विभागों के वरिष्ठ अधिकारी उपस्थित रहे। सभी विभागों को सुरक्षा, यातायात, मंच व्यवस्था, फिल्म निर्माण, महिला सहभागिता, और आयोजन की ब्रांडिंग से जुड़े कार्य सौंपे गए हैं।
भोपाल का जंबूरी मैदान इस दिन महिलाओं की शक्ति, समर्पण और आत्मनिर्भरता की मिसाल बनेगा, जब देश के प्रधानमंत्री स्वयं एक ऐतिहासिक महिला के सम्मान में आयोजित कार्यक्रम का हिस्सा बनेंगे। यह सम्मेलन न केवल लोकमाता अहिल्याबाई की स्मृति को चिरस्थायी बनाएगा, बल्कि ‘सबका साथ, सबका विकास, सबका विश्वास, सबका प्रयास’ के मूल मंत्र को भी और मजबूत करेगा।