हलगाम आतंकी हमले में शहीद विनय नरवाल को श्रद्धांजलि देने पहुंचे राहुल गांधी, परिवार के साथ करीब 1 घंटे 35 मिनट तक की बातचीत; पहलगाम हमले में पत्नी के सामने मारे गए थे लेफ्टिनेंट विनय

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जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:

जम्मू-कश्मीर के पहलगाम में हुए आतंकी हमले में शहीद हुए नेवी लेफ्टिनेंट विनय नरवाल को श्रद्धांजलि देने मंगलवार को कांग्रेस नेता और सांसद राहुल गांधी हरियाणा के करनाल स्थित उनके घर पहुंचे। इस दौरान राहुल गांधी ने परिवार के साथ करीब 1 घंटे 35 मिनट तक बातचीत की और गहरी संवेदना प्रकट की। उनके साथ रोहतक से कांग्रेस सांसद दीपेंद्र हुड्डा और हरियाणा कांग्रेस अध्यक्ष चौधरी उदयभान भी मौजूद रहे। राहुल गांधी दोपहर 2:15 बजे विनय नरवाल के घर से रवाना हुए।

यह मुलाकात भावनात्मक और बेहद संवेदनशील माहौल में हुई। दीपेंद्र हुड्डा ने बताया कि राहुल गांधी ने परिवार को ढांढस बंधाया और निजी रूप से गहरे दुख साझा किए। इस दौरान किसी प्रकार की राजनीति या बयानबाजी से दूरी बनाते हुए, उन्होंने केवल शहीद को श्रद्धांजलि देने पर ही ध्यान केंद्रित किया।

22 अप्रैल को पहलगाम में हुए इस हमले में विनय नरवाल की नई नवेली पत्नी हिमांशी की आंखों के सामने आतंकियों ने उनकी हत्या कर दी थी। शादी के सिर्फ सातवें दिन आतंकियों ने विनय को तीन गोलियां मारीं। हिमांशी ही वह बहादुर महिला हैं, जिन्होंने सबसे पहले यह खुलासा किया कि आतंकी पहले लोगों का नाम पूछते थे और फिर मुस्लिम होने पर उन्हें गोली मार देते थे। इस हमले में 26 टूरिस्टों की मौत हो चुकी है।

हिमांशी ने मीडिया से बातचीत में हमले की पूरी घटना की भयावह कहानी साझा की। उन्होंने बताया, हम दोपहर करीब डेढ़ बजे बाइसरन के लिए निकले थे और 2 बजे वहां पहुंच गए थे। हम कुछ खा-पी ही रहे थे कि फायरिंग की आवाज आई। मैंने विनय से कहा कि फायरिंग हो रही है। तभी एक आतंकी ने विनय की तरफ इशारा कर कहा – ये भी मुस्लिम नहीं है – और गोली चला दी।”

हिमांशी ने बताया कि आतंकी ने उन्हें वहां से जाने को कहा लेकिन किसी ने उनकी मदद नहीं की। पुलिस को पहुंचने में करीब एक घंटा लग गया और विनय को अस्पताल ले जाते ले जाते डेढ़ घंटा गुजर गया। हिमांशी ने बताया कि उन्होंने आतंकियों से कई सवाल किए लेकिन उन्होंने जवाब नहीं दिया। शहीद की पत्नी हिमांशी ने आतंकियों को सजा की मांग करते हुए कहा कि हम चाहते हैं कि जो हमारे साथ हुआ, वो किसी और के साथ हो। आतंकियों को सख्त से सख्त सजा मिलनी चाहिए।” उन्होंने मुस्लिम और कश्मीरियों के खिलाफ सोशल मीडिया पर चल रहे नफरत भरे बयानों का विरोध भी किया और कहा कि यह तरीका सही नहीं है, इससे देश में शांति नहीं सकती।” हिमांशी ने एक सवाल के जवाब में कहा कि वे अपने पति की तरह देश की सेवा के मार्ग पर आगे बढ़ेंगी। उनके इस संकल्प ने पूरे देश को प्रेरणा दी है।

इस बीच हरियाणा सरकार ने भी विनय नरवाल के परिवार के लिए 50 लाख रुपये की आर्थिक सहायता और परिवार के एक सदस्य को सरकारी नौकरी देने का निर्णय लिया है। यह फैसला रविवार को हुई कैबिनेट मीटिंग में लिया गया।

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