जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
भोपाल का गांधी मेडिकल कॉलेज अब अत्याधुनिक स्वास्थ्य सेवाओं का केंद्र बन गया है। 25 जुलाई को मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव ने यहां हाई-टेक सीटी स्कैन (128-स्लाइस क्षमता वाली) और एमआरआई (1.5 टेसला) मशीनों का लोकार्पण किया। इस ऐतिहासिक पहल के साथ ही मध्यप्रदेश देश के उन अग्रणी राज्यों की कतार में आ खड़ा हुआ है, जहाँ सरकारी मेडिकल कॉलेजों में इतनी उन्नत तकनीक आम जनता के लिए उपलब्ध कराई जा रही है।
अब यह सुविधा न सिर्फ आम नागरिकों को बेहतरीन जाँच का विकल्प देगी, बल्कि आयुष्मान भारत योजना सहित अन्य सभी शासकीय स्वास्थ्य योजनाओं के अंतर्गत आने वाले जरूरतमंदों को निःशुल्क इलाज भी उपलब्ध रहेगा। मुख्यमंत्री ने इस मौके पर कहा कि “अब मरीजों को बड़ी बीमारियों की जांच के लिए प्राइवेट लैब्स या अन्य राज्यों की ओर नहीं जाना पड़ेगा – उच्च गुणवत्ता वाली स्वास्थ्य सेवाएं यहीं भोपाल में मिलेंगी।”
गांधी मेडिकल कॉलेज में MRI मशीन अब डेडिकेटेड ब्रेस्ट कॉइल्स सहित सभी आवश्यक हाई-रेजोल्यूशन कॉइल्स से लैस है, जिससे स्तन कैंसर जैसे रोगों की सटीक जांच पहले से कहीं अधिक आसान हो गई है। वहीं CT स्कैन मशीन फ्यूजन, परफ्यूजन और मल्टीपल एंगल हाई-रेज इमेजिंग जैसी सुविधाओं के साथ कार्य कर रही है। इन दोनों मशीनों में AI (आर्टिफिशियल इंटेलिजेंस) तकनीक को एकीकृत किया गया है, जो हृदय रोग, कैंसर और न्यूरोलॉजिकल समस्याओं जैसी जटिल बीमारियों की प्रारंभिक पहचान को तेज और सटीक बनाएगी।
इस तकनीकी सशक्तिकरण का लाभ केवल मरीजों तक सीमित नहीं रहेगा। अब मेडिकल कॉलेज के UG, PG और पैरामेडिकल छात्र भी रिसर्च और प्रशिक्षण में वर्ल्ड-क्लास लैब्स की तकनीक का अनुभव कर सकेंगे। मुख्यमंत्री ने बताया कि इसके संचालन के लिए विशेष रूप से प्रशिक्षित टेक्निकल स्टाफ की भी नियुक्ति हो चुकी है, जिससे सेवा की गुणवत्ता सुनिश्चित होगी।