मध्यप्रदेश में कृषि उद्योग समागम 2025, उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ करेंगे शुभारंभ: मुख्यमंत्री शुगर इंडस्ट्री निवेशकों से करेंगे संवाद; 26 मई, से 28 मई तक नरसिंहपुर में आयोजित होगा समागम!

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जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:

मध्यप्रदेश सरकार द्वारा घोषित “उद्योग एवं रोजगार वर्ष” के अंतर्गत प्रदेश के कृषि क्षेत्र को उद्योग, नवाचार और निवेश से जोड़ने की दिशा में एक ऐतिहासिक और दूरगामी पहल के रूप में ‘कृषि उद्योग समागम 2025’ का आयोजन किया जा रहा है। यह त्रिदिवसीय समागम 26 मई, सोमवार से 28 मई तक नरसिंहपुर में आयोजित होगा, जिसका शुभारंभ देश के उपराष्ट्रपति जगदीप धनखड़ द्वारा किया जाएगा। कार्यक्रम का आयोजन नरसिंहपुर जिले की कृषि उपज मंडी के समीप भव्य स्तर पर किया जा रहा है, जिसमें प्रदेश और देशभर से कृषि क्षेत्र के उद्यमी, नवाचार कंपनियाँ, किसान संगठन, एफपीओ, निर्यातक समूह और बड़ी संख्या में किसान भाग लेंगे।

इस भव्य समागम में राज्यपाल मंगुभाई पटेल, मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव, कृषि मंत्री एदल सिंह कंषाना, पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री प्रहलाद सिंह पटेल, उद्यानिकी मंत्री नारायण सिंह कुशवाहा, खाद्य एवं उपभोक्ता संरक्षण मंत्री गोविंद सिंह राजपूत, स्कूल शिक्षा एवं परिवहन मंत्री राव उदय प्रताप सिंह, और सूक्ष्म, लघु एवं मध्यम उद्यम मंत्री चैतन्य कुमार काश्यप सहित कई वरिष्ठ मंत्री और जनप्रतिनिधि उपस्थित रहेंगे। यह समागम न केवल एक आयोजन है, बल्कि प्रदेश की कृषि आधारित अर्थव्यवस्था को उद्योग और वैश्विक बाजारों से जोड़ने की दिशा में एक निर्णायक कदम है।

‘कृषि उद्योग समागम 2025’ का मूल उद्देश्य मध्यप्रदेश की पारंपरिक खेती को आधुनिक प्रोसेसिंग, वैल्यू एडिशन और टेक्नोलॉजी से जोड़ते हुए निवेश, नवाचार और रोजगार के नए द्वार खोलना है। प्रदेश जो पहले से ही गेहूं, दलहन, तिलहन और दुग्ध उत्पादन में अग्रणी है, अब एग्री-टेक और फूड प्रोसेसिंग में भी राष्ट्रीय पहचान बना रहा है। नरसिंहपुर की “तुअर दाल” को ‘वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट’ (ODOP) योजना के तहत राज्य की विशिष्ट पहचान के रूप में मान्यता दी गई है, जिससे स्थानीय कृषि उत्पादों को वैश्विक बाज़ार से जोड़ने का मार्ग प्रशस्त होगा। यह समागम प्रदेश की कृषि नीति को नीतिगत घोषणाओं से धरातली क्रियान्वयन की दिशा में आगे ले जाने का सशक्त उदाहरण बनेगा। इससे न केवल किसानों की आमदनी बढ़ेगी बल्कि स्थानीय युवाओं के लिए रोजगार के अवसर भी सृजित होंगे।

मुख्यमंत्री करेंगे शुगर इंडस्ट्री निवेशकों से संवाद

समागम के दौरान मुख्यमंत्री डॉ. मोहन यादव नरसिंहपुर अंचल में गन्ना उत्पादक किसानों के हितों को ध्यान में रखते हुए शुगर इंडस्ट्री में निवेश को बढ़ावा देने के लिए उद्योगपतियों से संवाद करेंगे। मुख्यमंत्री इस क्षेत्र को चीनी उद्योग के नए केंद्र के रूप में विकसित करने की योजना पर चर्चा करेंगे और राज्य शासन की प्रोत्साहन नीतियों को साझा करेंगे। इसके साथ ही मुख्यमंत्री विभिन्न योजनाओं के लाभार्थियों को हितलाभ भी प्रदान करेंगे और कृषि निवेश से जुड़े समूहों से भी सीधे संवाद करेंगे। यह पहल नरसिंहपुर क्षेत्र के आर्थिक विकास में मील का पत्थर साबित हो सकती है।

समागम स्थल पर एग्री-हॉर्टी एक्सपो के अंतर्गत आधुनिक कृषि तकनीकों का भव्य प्रदर्शन किया जाएगा। इसमें कृषि ड्रोन, एआई आधारित उपकरण, पॉलीहाउस, जैविक और नैनो उर्वरक, दुग्ध एवं गौशाला उत्पाद, जल कृषि मॉडल, और प्राकृतिक व जैविक खेती के लाइव मॉडल शामिल होंगे। एक्सपो का उद्देश्य किसानों को नई तकनीकों की जानकारी देना और उन्हें अपनाने के लिए प्रेरित करना है। इसके अलावा, औषधीय फसलों, एफपीओ और निर्यातकों के लिए विशेष नेटवर्किंग सेशन, संगोष्ठियाँ और तकनीकी व्याख्यान भी आयोजित किए जाएंगे, जिनमें विषय विशेषज्ञ किसानों को प्रशिक्षण और परामर्श देंगे। यह संवाद और ज्ञान का आदान-प्रदान किसानों के कौशल और दृष्टिकोण को नई दिशा देगा।

राज्य स्तरीय 90 से अधिक नवाचार स्टॉल्स

समागम में राज्य के आठ विभागों द्वारा 90 से अधिक स्टॉल्स लगाए जाएंगे, जो किसानों को सरकारी योजनाओं, नई तकनीकों और सफल नवाचारों की जानकारी देंगे। नरसिंहपुर जिले के किसानों द्वारा किए गए नवाचारों को वीडियो क्लिप्स के माध्यम से प्रदर्शित किया जाएगा, जो अन्य किसानों को प्रेरणा प्रदान करेंगे।

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