जनतंत्र, मध्यप्रदेश, श्रुति घुरैया:
भारत और पाकिस्तान के बीच तनाव अपने चरम पर पहुंच चुका है। दोनों देशों की सेनाएं आमने-सामने हैं और पश्चिमी सीमा पर हालात बेहद गंभीर हो चुके हैं। इसी बीच शनिवार को विदेश और रक्षा मंत्रालय ने संयुक्त प्रेस कॉन्फ्रेंस कर इस युद्ध जैसे हालात पर पूरी जानकारी दी। प्रेस कॉन्फ्रेंस में मौजूद कर्नल सोफिया कुरैशी, विंग कमांडर व्योमिका सिंह और विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने मीडिया के सामने पाकिस्तान की बर्बरता, झूठे दावों और भारत की रणनीतिक सैन्य प्रतिक्रिया का खुलासा किया।
कर्नल सोफिया कुरैशी ने बताया कि पाकिस्तान ने शुक्रवार रात और शनिवार तड़के भारत के सैन्य ठिकानों को निशाना बनाकर कई हमले किए। उधमपुर, पठानकोट, आदमपुर और गुजरात के भुज एयरबेस पर हाईस्पीड मिसाइलों से हमला किया गया। इन हमलों में भारत को कुछ हानि जरूर हुई, लेकिन सेना ने कई प्रयासों को विफल कर दिया। पाकिस्तान ने न केवल सैन्य ठिकानों पर हमला किया, बल्कि उसने अस्पतालों और स्कूलों तक को निशाना बनाने की कोशिश की, जो अंतरराष्ट्रीय युद्ध कानूनों का खुला उल्लंघन है। भारत ने समय रहते इन प्रयासों को असफल कर दिया।
कर्नल कुरैशी ने बताया कि पाकिस्तान की सेना लगातार आक्रामक रवैया अपना रही है। यूकैब ड्रोन, लॉन्ग रेंज वेपन, हल्के हथियार और लड़ाकू विमानों का प्रयोग कर वह भारतीय सैन्य ढांचे को नुकसान पहुंचाने का प्रयास कर रही है। नियंत्रण रेखा और अंतरराष्ट्रीय सीमा पर भी पाकिस्तान की ओर से भारी गोलाबारी और घुसपैठ की कोशिशें की जा रही हैं। श्रीनगर से लेकर ढलिया तक 26 से अधिक इलाकों में एयरस्पेस का उल्लंघन किया गया।
हालांकि, भारतीय सेना ने अधिकतर खतरों को नाकाम किया। इसके बावजूद उधमपुर, पठानकोट, आदमपुर, भुज और बठिंडा के वायुसेना अड्डों पर कुछ नुकसान हुआ है। पाकिस्तान की ओर से शनिवार सुबह 1:40 बजे हाईस्पीड मिसाइलों से पंजाब के एयरबेस पर हमला किया गया। इससे कुछ उपकरण और अधिकारियों को नुकसान पहुँचा है।
सबसे निंदनीय पहलू यह रहा कि पाकिस्तान ने श्रीनगर, अवंतीपुर और उधमपुर के वायुसेना अड्डों पर मौजूद मेडिकल सेंटर और स्कूल परिसरों को भी टारगेट किया। यह हमला पाकिस्तान की गैर-पेशेवर और अमानवीय सोच को दर्शाता है, जो सिविलियन इन्फ्रास्ट्रक्चर को निशाना बनाकर युद्ध के मानवीय पहलुओं की अवहेलना कर रहा है।
भारतीय सशस्त्र बलों ने इस हमले के तुरंत बाद योजनाबद्ध और सटीक जवाबी कार्रवाई की। पाकिस्तान के रफीकी, मुरीद, चकलाला, रहमियार खान, सुकूर और चुनिया में स्थित सैन्य ठिकानों पर एयर लॉन्च हथियारों और लड़ाकू विमानों से हमला किया गया। पसूर स्थित रडार साइट और सियालकोट के एविएशन बेस को भी सटीक मिसाइलों से ध्वस्त किया गया। भारत के इन जवाबी हमलों में पाकिस्तान की कई रणनीतिक फैसिलिटीज़ को भारी नुकसान हुआ है।
कर्नल कुरैशी ने बताया कि पाकिस्तान अग्रिम इलाकों में सैन्य गतिविधियां बढ़ा रहा है, जो स्पष्ट रूप से उकसाने वाली कार्रवाई है। भारत युद्ध नहीं चाहता, लेकिन यदि पाकिस्तान उकसाता है, तो जवाब उसी भाषा में मिलेगा। प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान भारतीय सेना के हथियारों द्वारा नष्ट किए गए पाकिस्तानी सैन्य ठिकानों के वीडियो भी दिखाए गए।
विदेश सचिव विक्रम मिसरी ने पाकिस्तान पर जमकर हमला बोला। उन्होंने पाकिस्तान के सभी दावों को झूठा करार देते हुए कहा कि वे लगातार भारत के सैन्य ठिकानों को ध्वस्त करने की बातें कर रहे हैं, जो पूरी तरह झूठ और भ्रम फैलाने की साजिश है। सिरसा एयरबेस, सूरतगढ़, आदमपुर के एस-400 बेस को लेकर पाकिस्तान जो भी दावा कर रहा है, वह पूर्ण रूप से फर्जी और निराधार है। उन्होंने साफ कहा कि पाकिस्तान की सरकारी एजेंसियां जानबूझकर अंतरराष्ट्रीय समुदाय और अपने नागरिकों को गुमराह कर रही हैं।
विक्रम मिसरी ने यह भी बताया कि पाकिस्तान लगातार नागरिक ठिकानों को निशाना बना रहा है। जम्मू-कश्मीर में धार्मिक तनाव भड़काने की साजिशें हो रही हैं। राजौरी में हमले में एक प्रशासनिक अधिकारी की मौत हुई और कई नागरिक घायल हुए। फिरोजपुर और जालंधर में भी नागरिकों और संपत्ति को नुकसान हुआ।
पाकिस्तानी अधिकारी यह झूठा प्रचार कर रहे हैं कि भारत अमृतसर साहिब की ओर मिसाइल दाग रहा है। यह भारत को धार्मिक आधार पर तोड़ने की कोशिश है, जो कभी कामयाब नहीं होगी। अफगानिस्तान को लेकर भी पाकिस्तान निराधार आरोप लगा रहा है कि भारतीय मिसाइल वहां गिरी है, जबकि भारत की ओर से ऐसा कोई कृत्य नहीं हुआ।
विदेश मंत्रालय ने यह भी खुलासा किया कि पाकिस्तान ने 7 मई की रात 8:30 बजे मिसाइल और ड्रोन हमला किया और जानबूझकर अपना एयरस्पेस खुला रखा, ताकि नागरिक विमानों को ढाल के रूप में इस्तेमाल किया जा सके। यह कार्रवाई अंतरराष्ट्रीय नियमों का उल्लंघन और नैतिक रूप से बेहद शर्मनाक है।